✍ गौरव सिंह गौतम
फतेहपुर / असोथर - मौजूदा समय में हो रही बोर्ड परीक्षाओं की तैयारी को लेकर छात्र-छात्राओं की धड़कनें तेज होने लगी हैं।
वहीं बिजली का रोस्टर भी छात्र-छात्राओं की परीक्षा तैयारियों पर भारी पड़ रहा है।क्योंकि रोस्टर की टाइमिंग छात्रों के लिहाज से सही नहीं है। खासकर शाम व सुबह के समय 5 बजे से 9 बजे तक होने वाली कटौती बड़ी मुसीबत साबित हो रही है।
6 फरवरी 2018 से यूपी बोर्ड की परीक्षाएं शुरू हो गई हैं तो मार्च 2018 से विश्वविद्यालयी परीक्षाओं का शुभारंभ हो जाएगा।
लिहाजा यह समय परीक्षार्थियों के कीमती है, सो छात्र-छात्राएं अपनी तैयारियां मुकम्मल करने के लिए दिन-रात एक कर रहे हैं। ऐसे में बिजली आपूर्ति उनके लिए परेशानी का सबब बन सकता है। खासकर ऐसे परीक्षार्थी, जिनके पास बिजली के अलावा रोशनी की वैकल्पिक व्यवस्था नहीं है, उन्हें खासी दिक्कत उठानी पड़ रही है।
विद्यार्थियों राहुल, राकेश, संजय , जागरण ,बीरू , सुमित्रा आदि की माने तो शाम 5 बजे से 9 बजे तक बिजली कटौती नहीं होनी चाहिए,
क्योंकि इसी दौरान पढ़ाई करने का समय होता है।
लिहाजा शाम में होने वाली इस रोस्टिंग के शेड्यूल को बदलने की जरूरत है।
बोर्ड परीक्षाओं तक तो इस शेड्यूल को बदलकर दिन में कटौती का समय बढ़ाया जा सकता है, जिससे परीक्षार्थियों को नि:संदेह राहत मिलेगी।
0 टिप्पणियाँ:
Thanks for Visiting our News website..